कब लेनी चाहिए डायबिटीज की दवाImage Credit source: Viktoriya Skorikova/Moment/Getty Images
डायबिटीज एक ऐसी बीमारी है जिसके केस भारत में हर साल बढ़ते जा रहे हैं. आईसीएमआर के मुताबिक, देश में इस बीमारी के मरीजों का आंकड़ा 10 करोड़ से अधिक है. खानपान की खराब आदतें, बिगड़ा हुआ लाइफस्टाइल और जेनेटिक कारणों की वजह से लोग डायबिटीज का शिकार हो रहे हैं. यह बीमारी मुख्यतौर पर दो प्रकार की होती है. एक टाइप-1 और दूसरी टाइप-2 डायबिटीज है. इनमें टाइप-1 एक ऑटो इम्यून स्थिति है जो जेनेटिक कारण और अन्य वजहों से हो सकती है. टाइप -2 खराब जीवनशैली और खानपान से होती है. टाइप -2 डायबिटीज के मरीजों को दवा के सहारे अपना शुगर लेवल कंट्रोल करना होता है, जबकि टाइप-1 वालों को इंसुलिन लेना पड़ता है.
डायबिटीज बीमारी के मामलों में एक समस्या यह है कि इसका कोई इलाज नहीं है. अगर एक बार यह हो जाए तो केवल इसको कंट्रोल किया जा सकता है. दवाओं के सहारे और लाइफस्टाइल को बेहतर बनाकर, हालांकि कईमामलों में इस बीमारी के मरीजों में अपनी दवा को किस समय लेना है इसपर कन्फ्यूजन रहता है. कुछ खाने से पहले लेते हैं कुछ खाने के तुरंत बाद, लेकिन दवा लेनी कब चाहिए इस बारे में हमने एक्सपर्ट्स से बातचीत की है.
कब लें डायबिटीज की दवा
दिल्ली के आरएमएल हॉस्पिटल में मेडिसिन विभाग में प्रोफेसर डॉ सुभाष गिरी बताते हैं कि डायबिटीज के मरीजों को दवा खाने के समय का काफी ध्यान रखने की जरूरत है. दवा के बेहतर परिणाम तभी मिलते हैं जब आप इसको सही समय पर लेते हैं. टाइप 2 डायबिटीज के अधिकांश मरीज दिन में एक या दो बार दवा लेते हैं, लेकिन शुगर की दवा कब और कितनी बार लेनी है यह इस बात पर निर्भर करता है कि आपका शुगर लेवल कंट्रोल में है या नहीं. यानी, अगर आपके शरीर में शुगर कंट्रोल में है तो दिन में एक बार या दो दिन में एक बार दवा खा सकते हैं.
अगर शुगर लेवल बढ़ा हुआ रहता है तो आमतौर पर दवा दिन में दो बार खाने की सलाह दी जाती है. सुबह नाश्ते और रात के खाने के बाद दवा लेना सबसे बेहतर है. कोशिश करें कि भोजन करने के 25 मिनट के अंदर आप अपनी दवाई जरूर ले. इससे ज्यादा देरी न करें. खाली पेट शुगर की दवा न खाएं.
इंसुलिन इंजेक्शन कब लेना चाहिए
दिल्ली में वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. कमलजीत सिंह बताते हैं कि आमतौर पर टाइप-1 डायबिटीज मरीजों को इंसुलिन का इंजेक्शन लेने की जरूरत पड़ती है, हालांकि कुछ मामलों में टाइप-2 डायबिटीज के मरीज को भी इसे लेना पड़ता है. ऐसा तब होता है जब दवाओं से शुगर लेवल कंट्रोल नहीं होता है. इंसुलिन का इंजेक्शन आपको भोजन करने से 20 से 25 मिनट पहले लेना चाहिए. इंजेक्शन लेने के थोड़ी देर बाद ही आपको कुछ खाना जरूरी है.
डॉ सिंह बताते हैं कि यदि आपको टाइप डायबिटीज है तो आपको जीवन भर इंसुलिन लेने की आवश्यकता होती है. इंसलुन लेने के समय को हमेशा ध्यान में रखना चाहिए. अगर इस मामले में लापरवाही की जाती है तो शुगर लेवल बढ़ सकता है.
कितना होना चाहिए शुगर लेवल?
खाना खाने के बाद 200 mg/dL से कम होना चाहिए शुगर लेवल
खाली पेट
100 mg/dL से कम है तो आप स्वस्थ हैं
100 से 125 mg/dL को प्रीडायबिटीज माना जाता है.
126 mg/dL से अधिक को डायबिटीज माना जाता है.
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