सीआरपीएफ. (सांकेतिक)
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) ने सोमवार को छत्तीसगढ़ के बीजापुर में करीब 20-22 किलोग्राम वजनी आईईडी बरामद कर उसे निष्क्रिय कर दिया. अधिकारियों ने बताया कि इससे सात घंटे पहले, छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में नक्सलियों ने सोमवार को लगभग 70 किलोग्राम वजनी बारूदी सुरंग का इस्तेमाल कर सुरक्षाबलों के एक वाहन को उड़ा दिया, जिसमें आठ सुरक्षाकर्मियों और उनके वाहन चालक की मौत हो गई थी.
सीआरपीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि एक बड़ी त्रासदी टल गई, क्योंकि आईईडी का पता लगा लिया गया और उसे निष्क्रिय कर दिया गया. छिपा कर रखे गए इस तरह के विस्फोटकों की भयावहता का अंदाजा नक्सलियों द्वारा किए गए उस विस्फोट से लगाया जा सकता है, जिसमें आज इसी जिले में नौ लोग मारे गए.
20 किलो आईईडी बरामद
दरअसल सीआरपीएफ ने बीजापुर में लगभग 20-22 किलोग्राम वजनी एक आईईडी बरामद किया और उसे लगभग सात घंटे पहले निष्क्रिय कर दिया. सीआरपीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि एक बड़ी त्रासदी टल गई क्योंकि आईईडी का पता चल गया और वह बेकार हो गया. ऐसे छिपे हुए विस्फोटकों के खतरे का अंदाजा नक्सली विस्फोट से लगाया जा सकता है, जिसमें उसी जिले में नौ लोगों की मौत हो गई.
बता दें कि केंद्रीय बल की 196वीं बटालियन के एक गश्ती दल को मंगलवार सुबह करीब 7:30 बजे एक नीले प्लास्टिक ड्रम के अंदर रखे गए इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (IED) का पता चला, जब वह उसूर पुलिस थाना क्षेत्र में माओवादी विरोधी अभियान के लिए निकला था.
बम निरोधक दस्ते ने किया निष्क्रिय
अधिकारियों ने बताया कि सीआरपीएफ के जवानों ने एक कच्ची सड़क के नीचे से आईईडी बरामद करने के लिए भारी अर्थ मूवर मशीन (जेसीबी) का इस्तेमाल किया. आईईडी का वजन करीब 20-22 किलोग्राम था. अधिकारियों ने बताया कि बल के बम निरोधक दस्ते ने इसे कुछ ही घंटों में निष्क्रिय कर दिया और क्षेत्र में यातायात बहाल कर दिया गया.
आईईडी से किया ब्लास्ट
छत्तीसगढ़ में दो साल में सुरक्षा बलों पर अपने सबसे घातक हमले में, नक्सलियों ने सोमवार दोपहर करीब 2.15 बजे कुटरू थाना क्षेत्र के अंबेली गांव के पास 60-70 किलोग्राम मजबूत आईईडी का उपयोग करके एक वाहन को उड़ा दिया. पुलिस को संदेह है कि शक्तिशाली आईईडी को सुरक्षाकर्मियों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले मार्ग पर काफी समय पहले लगाया गया था.
नक्सल विरोधी अभियान
पुलिस महानिरीक्षक (बस्तर रेंज) सुंदरराज पी ने कहा कि विस्फोटक उपकरण उस समय फट गया जब दंतेवाड़ा जिले के डीआरजी कर्मी नक्सल विरोधी अभियान चलाकर अपने स्कॉर्पियो वाहन में लौट रहे थे. अधिकारी ने बताया कि आठ सुरक्षाकर्मी, जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी) और बस्तर फाइटर्स के चार-चार-राज्य पुलिस की दोनों यूनिट्स- जो एसयूवी में यात्रा कर रहे थे और चालक की मौके पर ही मौत हो गई, जो बीजापुर जिला मुख्यालय से लगभग 70 किमी दूर स्थित है.
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